#GhazipurNews: :अपनी पुश्तैनी भूमि पर नहीं बना पाया एक दलित आशियाना | #NayaSaveraNetwork
- 6 साल से न्याय के लिए भटक रहा पीड़ित
- लेखपाल एसडीएम के आदेश को दिखा रहा ठेंगा
नया सवेरा नेटवर्क
गाजीपुर। जहां एक ओर सीएम आदित्यनाथ योगी जीरो टॉलरेंस की बात कर रहे हैं तो वहीं जखनियां तहसील स्थित वृंदावन निवासी एक दलित पीड़ित अपनी पुश्तैनी भूमि पर घर बनाने को लेकर पिछले ६ साल से राजस्व विभाग के अधिकारियों के यहां चक्कर लगा रहा है,लेकिन आज तक उसे न्याय नहीं मिला। जबकि २९जून २०१८ को तत्कालीन एसडीएम ने थानाध्यक्ष बहरियाबाद को भी निर्देशित किया था कि वे विपक्षी महिला को इस विवाद पर रोके और पीड़ित दलित का मकान बनाने में सहयोग प्रदान करें। लेकिन मामला अब तक नहीं सुलझा।
गौरतलब है कि वृंदावन निवासी पीड़ित राजनाथ पुत्र वासुराम अपनी पुश्तैनी घरोही पर वर्ष २०१८ में अपना माटी का मकान गिराकर नया पक्का मकान बनाना शुरू किया और इस मकान की नींव निर्माण की गई और कुछ पीलर भी बन गया।
इसी दौरान एक गांव की विधवा महिला ने उक्त जगह अपनी बता कर विवाद पैदा कर दी और तभी से मकान का निर्माण अधर में पड़ गया। इसके बाद पीड़ित राजनाथ राम वर्ष २०१८ से एसडीएम कार्यालय और लेकर थाना बहरियाबाद तक का चक्कर लगाता रहा, लेकिन इस विवाद का कुछ हल नहीं निकला।
नव नियुक्त एसडीएम से की मुलाकात फिर एक बार पीड़ित राजनाथ राम न्याय के लिए नव नियुक्त युवा एसडीएम रवीश गुप्ता से २५ सितंबर २०२४ को मुलाकात की और उन्हें एक शिकायती पत्र सौंपा। उन्होंने तत्काल इसे तहसीलदार को सौंप दिया।आखिर में हल्का लेखपाल महेंद्र प्रजापति को यह शिकायती पत्र एक अक्टूबर को मिला, लेकिन कई दिन बीत जाने के बाद भी लेखपाल मौके पर नहीं गया।
- एसडीएम ने लेखपाल को लगाया फोन
बाद में एसडीएम रवीश गुप्ता ने उक्त मामले को लेकर लेखपाल को फोन लगाया और सख्त लहजे में तत्काल मौके पर जाकर रिपोर्ट देने के लिए कहा। हालांकि लेखपाल मौके पर गया और बाद में दोनों पक्षों को एसडीएम से मिलने के लिए कहा और दोनों पक्ष उनसे मिले। फिर उन्होंने लेखपाल को नापी करने के लिए कहा, लेकिन फिर वह मौके पर नहीं गया।
- मनमानी करता है लेखपाल
लेखपाल पर यह भी आरोप है कि वह विवाद पैदा करने वाली महिला से मिला हुआ है। पीड़ित का आरोप है कि इस मामले को लेकर वह लेखपाल महेंद्र प्रजापति से कई बार शिकायत की, लेकिन वह मौके पर नहीं गया।आखिर में शिकायतकर्ता को एसडीएम से मिलना पड़ा। हल्का लेखपाल महेंद्र प्रजापति पर कई ग्रामीणों का आरोप है कि वह मनमानी करता है और शिकायत कर्ता की समस्या पर ध्यान नहीं देता है,जिससे गांव में विवाद पैदा होता है।
- कई राजस्व टीम ने की है नापी
पीड़ित के पुश्तैनी मकान की नापी कई बार राजस्व टीम और लेखपाल ने की है और महिला के आरोप को झूठा बतलाया है। इतना ही नहीं आईजीआरएस रिपोर्ट में भी राजस्व अधिकारियों ने उक्त पुश्तैनी घरोही राजनाथ राम का ही बताया गया है, फिर भी पीड़ित न्याय के लिए दर दर भटक रहा है।