- भागवत कथा के दौरान कृष्ण जन्म प्रसंग में झूमे श्रद्धालु
नया सवेरा नेटवर्क
जौनपुर। जिले के खुटहन ब्लॉक अंतर्गत रुस्तमपुर ग्राम में श्रीमद भागवत कथा का आयोजन पंडित रामतीर्थ मिश्र, रामलखन मिश्र और रामबचन मिश्र व मिश्र परिवार द्वारा आयोजित किया गया है। सात दिवसीय श्रीमद् भागवत कथा आयोजन के चतुर्थ दिवस पर आचार्य राहुल पांडे पाराशर महाराज ने कहा कि व्यक्ति को अहंकार नहीं करना चाहिए, अहंकार बुद्धि और ज्ञान का हरण कर लेता है। अहंकार ही मनुष्य का सबसे बड़ा शत्रु है। श्रीकृष्ण जन्मोत्सव का प्रसंग सुनाया। श्रीकृष्ण की जन्म कथा का प्रसंग सुनकर श्रद्धालु भाव विभोर हो उठे।
अयोध्या से पधारे कथा व्यास आचार्य राहुल पांडे पाराशर ने कथा में वर्णन करते हुए कहा कि जब अत्याचारी कंस के पापों से धरती डोलने लगी, तो भगवान कृष्ण को अवतरित होना पड़ा। सात संतानों के बाद जब देवकी गर्भवती हुई, तो उसे अपनी इस संतान की मृत्यु का भय सता रहा था। भगवान की लीला वे स्वयं ही समझ सकते हैं। भगवान कृष्ण के जन्म लेते ही जेल के सभी बंधन टूट गए और भगवान श्रीकृष्ण गोकुल पहुंच गए। शास्त्री ने कहा कि जब-जब धरती पर धर्म की हानि होती है, तब-तब भगवान धरती पर अवतरित होते हैं। जैसे ही कथा के दौरान भगवान श्रीकृष्ण का जन्म हुआ पूरा पंडाल जयकारों से गूंजने लगा।
श्रीकृष्ण जन्म उत्सव पर नन्द के आनंद भयो जय कन्हैयालाल की भजन प्रस्तुत किया तो श्रद्धालु भक्ति में लीन होकर जमकर झूमे। एक-दूसरे को श्रीकृष्ण जन्म की बधाईयां दी गई। कथा महोत्सव में बड़ी संख्या में महिलाओं ने भजन प्रदुम कर भगवान श्री कृष्ण के जन्म की खुशियां मनाई। यह भागवत कथा कार्यक्रम अमर उजाला के महाराष्ट्र ब्यूरो सुरेंद्र मिश्र और दैनिक भास्कर के मुंबई कोंकण रेंज के ठाणे जिला ब्यूरो चीफ वीरेंद्र मिश्र के नेतृत्व में आयोजित हो रहा है। जिसका समापन 12 मई को और हवन और महाप्रसाद 13 मई को रखा गया है।
इस अवसर पर रामसुभग मिश्र, राम भवन मिश्र, पंडित रामनिरंजन मिश्र, हरिप्रसाद मिश्र, अमरदेव मिश्र, बब्बन प्रसाद मिश्र, हरिकृष्ण पांडे, बृजेश मिश्र, रविंद्र मिश्र, ओमप्रकाश मिश्र, शेष नारायण तिवारी, जितेंद्र मिश्र, कृष्ण मिश्र, अशोक, आशीष, मनीष, मुकेश, राजन, स्वतंत्र, राहुल, संदीप, उमेश मिश्र समेत सैकड़ों की संख्या में महिलाएं, बच्चे और बुजुर्ग श्रद्धालु उपस्थित रहे।
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