नया सवेरा नेटवर्क
खुटहन जौनपुर। सौरइया गांव में आयोजित श्रीमद्भागवत कथा में शनिवार को श्रद्धालुओं को संबोधित करते हुए पं. अखिलेश चन्द्र मिश्र ने भागवत महात्म्य की महिमा का वर्णन करते हुए कहा कि भक्ति, ज्ञान और वैराग्य का संगम स्थल श्रीमद्भागवत है। उन्होंने धुंधुकारी की कथा विस्तृत रूप से सुनाई।जिससे यह सिद्ध किया कि यदि धुंधुकारी जैसा पापात्मा, दुरात्मा मृत्यु के उपरांत प्रेतयोनि में भागवत श्रवण करके उत्तम गति को प्राप्त कर सकता है तो सामान्य रूप से कोई भी श्रद्धालु भागवत श्रवण कर आसानी से मुक्ति प्राप्त कर सकता है।न्होंने कहा भक्ति,ज्ञान और वैराग्य जो क्रमश: मानव जीवन के आदर्शो, कर्तव्यों और सार्थकता को पूर्ण करते हुए मोक्ष तक ले जाते हैं। जिसकी अभिवृति हमारे अंत:करण में महात्म्य से ही प्राप्त होता है। उन्होंने कहा कि चौरासी लाख योनियों में मनुष्य ही सबसे उत्कृष्ट जीव है। जो मुक्ति के मुहाने पर सबसे आगे खड़ा है। मानव मात्र सदाचरण के बल पर आसानी से इहलोक से मुक्ति प्राप्त कर सकता है। सत्यप्रकाश मिश्र, संतोष शर्मा, विकास तिवारी,मंगला शर्मा, राजेश शर्मा, राजबहादुर यादव, कुंदन तिवारी, संजीव, रविशंकर तिवारी,ओमप्रकाश गुप्ता, कृष्ण कुमार मिश्रा आदि मौजूद रहे। आयोजक सूर्यकांत पाण्डेय ने आगंतो के प्रति आभार प्रकट किया।
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