Panchang: जानिए शुभ मुहूर्त, शुभ योग, नक्षत्र और आज का राहुकाल | Naya Savera Network
नया सवेरा नेटवर्क
🌞~ आज का हिन्दू पंचांग ~🌞
⛅दिनांक - 6 मार्च 2025
⛅दिन - गुरुवार
⛅विक्रम संवत् - 2081
⛅अयन - उत्तरायण
⛅ऋतु - बसन्त
⛅मास - फाल्गुन
⛅पक्ष - शुक्ल
⛅तिथि - सप्तमी सुबह 10:50 तक तत्पश्चात अष्टमी
⛅नक्षत्र - रोहिणी रात्रि 12:05 मार्च 07 तक तत्पश्चात मृगशिरा
⛅योग- विष्कम्भ रात्रि 08:29 तक तत्पश्चात प्रीति
⛅राहु काल - दोपहर 02:20 से दोपहर 03:48 तक
⛅सूर्योदय - 07:00
⛅सूर्यास्त - 06:41
⛅दिशा शूल - दक्षिण दिशा में
⛅ब्राह्ममुहूर्त - प्रातः 05:19 से 06:08 तक
⛅अभिजीत मुहूर्त - दोपहर 12:27 से दोपहर 01:15 तक
⛅निशिता मुहूर्त - रात्रि 12:26 मार्च 07 से रात्रि 01:15 मार्च 07 तक
⛅व्रत पर्व विवरण - रोहिणी व्रत
⛅ विशेष - सप्तमी को ताड़ फल फल खाने से रोग बढ़ता है व शरीर का नाश होता है और अष्टमी को नारियल का फल खाने से बुद्धि का नाश होता है। (ब्रह्मवैवर्त पुराण, ब्रह्म खंडः 27.29-34)
🔹तीर्थ में पालने योग्य १२ नियम🔹
अश्वमेधसहस्राणि वाजपेयशतानि च।
लक्षं प्रदक्षिणा भूमेः कुम्भस्नानेन तत्फलम् ।।
🔸'हजारों अश्वमेध यज्ञ, सैकड़ों वाजपेय यज्ञ और लाखों बार पृथ्वी की प्रदक्षिणा करने से जो फल होता है, वही फल एक बार कुम्भ-स्नान करने से प्राप्त हो जाता है।'
🔸तीर्थ में ये बारह नियम अगर कोई पालता है तो उसे तीर्थ का पूरा फायदा होता है:
🔸 (१) हाथों का संयम : गंगा में गोता भी मारा और अनधिकार किसीकी वस्तु ले ली या ऐसी-वैसी कोई चीज उठाकर मुँह में डाल ली तो पुण्यप्राप्ति का आनंद नहीं होगा ।
🔸 (२) पैरों का संयम: कहीं भी चले गये मौज-मजा मारने के लिए... नहीं, अनुचित जगह पर न जायें ।
🔸 (३) मन को दूषित विचारों व चिंतन से बचाकर भगवच्चिंतन करना ।
🔸 (४) सत्संग व वेदांत शास्त्र का आश्रय लेना : ऐसा नहीं कि शरीर में बुखार है और दे मारा गोता । पुण्यलाभ करें और फिर हो गया बुखार या न्यूमोनिया और आदमी मर गया, ऐसा नहीं करना चाहिए । देश,काल और शरीर की अवस्था देखनी चाहिए ।
🔸 (५) तपस्या।
🔸 (६) भगवान की कीर्ति, भगवान के गुणों का गान कुम्भ-स्थान पर करना चाहिए ।
🔸 (७) परिग्रह का त्याग : कोई कुछ चीज दे तो तीर्थ में दान नहीं लेना चाहिए । तीर्थ में दूसरों की सुविधाओं का उपयोग करके अपने ऊपर बोझा न चढ़ायें । दान का खाना, अशुद्ध खाना, प्रसाद में धोखेबाजी करके बार-बार लेना... अशुद्ध व्यवहार पुण्य क्षीण और हृदय को मलिन करता है । एक तरफ पुण्य कमा रहे हैं, दूसरी तरफ बोझा चढ़ा रहे हैं । यह न करें ।
🔸 (८) जैसी भी परिस्थिति हो, आत्मसंतोष होना चाहिए । हाय रे ! धक्का धक्की है, बस नहीं मिली... ऐसा करके चित्त नहीं बिगाड़ना । 'हरे-हरे ! वाह ! यार की मौज ! तेरी मर्जी पूरण हो !' - इस प्रकार अपने चित्त को संतुष्ट रखें ।
🔸 (९) किसी प्रकार के अहंकार को न पोसें: 'मैं तो तीन बजे उठा था, मैं तो इतने मील पैदल गया और मैंने तो १० डुबकियाँ लगायीं.... - ऐसा अहंकार पुण्य को क्षीण कर देता है । भगवान की कृपा है जो पुण्यकर्म हुआ, उसको छुपाकर रखो ।
🔸 (१०) 'यह करूँगा, यह भोगूँगा, इधर जाऊँगा, उधर जाऊँगा.... इसका चिंतन न करें । 'मैं कौन हूँ ? जन्म के पहले मैं कौन था, अभी कौन हूँ और बाद में कौन रहूँगा ? तो मैं तो वही चैतन्य आत्मा हूँ । मैं जन्म के पहले था, अभी हूँ और बाद में भी रहूँगा ।' - इस प्रकार अपने स्वभाव में आने का प्रयत्न करें ।
🔸(११) दम्भ, दिखावा न करें ।
🔸(१२) इन्द्रिय-लोलुपता नहीं । कुछ भी खा लिया कि मजा आता है, कहीं भी चले गये... तो मौज-मजा मारने के लिए कुम्भ-स्नान नहीं है । सच्चाई, सत्कर्म और प्रभु-स्नेह से तपस्या करके अंतरात्मा का माधुर्य जगाने के लिए और हृदय को प्रसन्नता दिलाने के लिए तथा सत्संग के रहस्य का प्रसाद पाने के लिए कुम्भ-स्नान है ।"
🔹गुरुवार विशेष 🔹
🔸हर गुरुवार को तुलसी के पौधे में शुद्ध कच्चा दूध गाय का थोड़ा-सा ही डाले तो, उस घर में लक्ष्मी स्थायी होती है और गुरूवार को व्रत उपवास करके गुरु की पूजा करने वाले के दिल में गुरु की भक्ति स्थायी हो जाती है ।
🔸गुरुवार के दिन देवगुरु बृहस्पति के प्रतीक आम के पेड़ की निम्न प्रकार से पूजा करें :
🔸एक लोटा जल लेकर उसमें चने की दाल, गुड़, कुमकुम, हल्दी व चावल डालकर निम्नलिखित मंत्र बोलते हुए आम के पेड़ की जड़ में चढ़ाएं ।
ॐ ऐं क्लीं बृहस्पतये नमः ।
फिर उपरोक्त मंत्र बोलते हुए आम के वृक्ष की पांच परिक्रमा करें और गुरुभक्ति, गुरुप्रीति बढ़े ऐसी प्रार्थना करें । थोड़ा सा गुड़ या बेसन की मिठाई चींटियों को डाल दें ।
( लोक कल्याण सेतु , अंक - ११६ )
🔸गुरुवार को बाल कटवाने से लक्ष्मी और मान की हानि होती है ।
🔸गुरुवार के दिन तेल मालिश हानि करती है । यदि निषिद्ध दिनों में मालिश करनी ही है तो ऋषियों ने उसकी भी व्यवस्था दी है । तेल में दूर्वा डाल के मालिश करें तो वह दोष चला जायेगा ।
🌞🚩🚩 *" ll जय श्री राम ll " 🚩🚩🌞*