नया सवेरा नेटवर्क
कृष्णा सिंह
पतरही, जौनपुर। स्थानीय क्षेत्र के ग्राम पंचायत कोपा में स्थित पतरही बाजार में शुक्रवार को धनतेरस को लेकर दिखी चहल-पहल जहां लोगों ने जमकर की सामानों की खरीददारी। इसके पहले धनतेरस को लेकर एक दिन पूर्व दुकानदारों ने अपनी दुकानों के सामने सामाग्री निकालकर तैयारी शुरू कर दी थी। हिंदू धर्म में दिवाली सबसे बड़ा त्योहार माना गया है।धनतेरस से दिवाली महापर्व प्रारंभ हो जाता है। हिंदू पंचांग के अनुसार धनतेरस हर वर्ष कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को मनाया जाता है। धनतेरस को धन त्रयोदशी के नाम से भी जाना जाता है। मान्यता है कि इस दिन देवताओं के वैद्य भगवान धन्वंतरि का जन्म हुआ था। धनतेरस पर सोना-चांदी, आभूषण और बर्तन की खरीदारी करना बहुत ही शुभ माना गया है। धनतेरस पर खरीदी गई चीजों में 13 गुने की वृद्धि होती है, ऐसी पौराणिक मान्यताएं हैं। धनतेरस पर भगवान धन्वंतरि, भगवान कुबेर के साथ माता लक्ष्मी की पूजा होती है। धनतेरस को लेकर बाजार में चहल-पहल देखने को मिली। लक्ष्मी-गणेश की मूर्तियों से लेकर बर्तन, इलेक्ट्रॉनिक सामान, ज्वेलरी की लोगों ने की जमकर खरीदारी की। बरनवाल आभूषण भण्डार पर रौनक देखी गई। ज्वेलरी के साथ लक्ष्मी-गणेश के चाँदी के सिक्के की खरीददारी की। दिवाली से पहले धनतेरस का दिन काफी अहम होता है। इस दिन खरीददारी को अधिक शुभ माना जाता है। इस दिन का लोग वर्ष भर इंतजार करते हैं। ऐसे में हर कोई कुछ न कुछ जरूर खरीदता है। खासकर बर्तनों की खरीदारी जमकर होती है। धनतेरस पर झाड़ू खरीदने की भी परंपरा है। झाड़ू को माता लक्ष्मी का प्रतीक माना गया है। मान्यता है कि धनतेरस के दिन झाड़ू खरीदने से घर में सुख-शांति आती है। दरिद्रता दूर होती है। चन्द्रिका होंडा इंटरप्राइजेज के प्रोपराइटर मुकेश सिंह ने बताया कि हमारे यहाँ एक्टिवा और एसपी साइन के अलावा साइन सौ सीसी की बिक्री हुई ज्यादातर ग्राहकों ने धनतेरस के पहले ही पैसे देकर गाड़ियां बुक करा दी थी। वहीं दूसरी ओर बाजार में सुरक्षा के मद्देनजर थानाध्यक्ष चन्दवक महेश सिंह एवं उपनिरीक्षक राजकेश्वर सिंह हमराहियों संग पैदल मार्च करते नजर आये।
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