क्या आपको भी खड़े होकर पानी पीने की आदत है? अब हो जाएं सावधान | #NayaSaveraNetwork
नया सवेरा नेटवर्क
पानी के बिना धरती पर किसी भी जीव का जिंदा रहना संभव नहीं है. गर्मियों के मौसम में वैसे भी हमारे शरीर को पानी की जरूरत होती है. चूंकि गर्मी के मौसम में हमें ज्यादा पसीना आता है, जिसके जरिए हमारे शरीर को ज्यादा पानी की जरूरत होती है. तेज धूप से घर पहुंचने के बाद हमारा हाथ सबसे पहले फ्रिज में पड़ी पानी की बोतल की ओर जाता है और हम खड़े-खड़े पानी पीना शुरू कर देते हैं.
लेकिन अक्सर आपने बड़े बुजुर्गों को कहते सुना होगा कि खड़े होकर पानी पीने से नुकसान होता है. हम में से ज्यादातर लोगों को खड़े होकर पानी पीने की ही आदत होती है. लेकिन क्या वाकई खड़े होकर पानी पीने से नुकसान होता है या ये सिर्फ मिथक है. आइए जानते हैं…
खड़े होकर पानी पीने क्यों मना किया जाता है?
दरअसल, हमारे शरीर में 70 फीसदी पानी है. पानी ही वो मीडियम है, जिसके जरिए पोषक तत्व शरीर में एक जगह से दूसरी जगह में जाते हैं. हालांकि, आयुर्वेद की मानें को खड़े होकर पानी पीने के हमारे शरीर को कई सारे नुकसान होते हैं. खड़े होकर पानी पीने से ये फोर्स के साथ शरीर के अंदर जाता है, जिसका पहला नुकसान हमारे पेट को होता है. इसके कारण लोगों को एसिडिटी हो सकती है.
किडनी पर बुरा असर
दूसरी बात ये कि जब हम खड़े होकर पानी पीते हैं तो ये डाइजेस्टिव ट्रैक्ट से तेजी से गुजरता है. इस स्थिती में पानी डाइजेस्टिव ट्रैक्ट में जितना ऑब्सर्व होना चाहिए, उतना नहीं होता है. ऐसा नहीं होने पर शरीर के नैचुरल न्यूट्रिएंट्स और इलेक्ट्रोलाइट्स पर बुरा असर पड़ता है. इससे किडनियां प्रभावित होती हैं यानी कि आपके शरीर से किडनियां टॉक्सिंस बाहर नहीं निकाल पाती हैं.
पानी पीने का सही तरीका
आयुर्वेद के मुताबिक, बैठकर सीधी कमर सीधी करके ही पानी पीना चाहिए. इसके अलावा, आप घूंट-घूंट करके पानी पिएं. इससे पानी सही तरीके से डाइजेस्टिव ट्रैक्ट में जाएगा. इससे किडनी भी प्रभावित नहीं होगी और ठीक तरीके से काम करेगी.
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