नया सवेरा नेटवर्क
ऑपरेशन में डेढ़ किलो से ज्यादा वजन के ट्यूमर को निकाला
बीएचयू के डॉक्टरों ने किये थे हाथ खड़े,पैर काटने की दी थी सलाह
जौनपुर। नगर के सिपाह स्थित किज हॉस्पिटल के डॉक्टर इरफान खान ने एक 14 वर्षीय लड़के का बांए पैर के घुटने से डेढ़ किलो से ज्यादा वजन का ट्यूमर निकाल कर उसके पैर कटने से बचाने का काम किया है। सरायख्वाजा थाना क्षेत्र के हरदीपुर गांव निवासी महेंद्र कुमार मौर्य के पुत्र सत्यम मौर्या 14 वर्ष बीते डेढ़ साल से बांए घुटने में ऑस्ट्रियोकांडोमा बोन ट्यूमर की बीमारी से परेशान था जिससे वोह चलने फिरने में असमर्थ रहता था। यही नहीं दर्द से उसका जीना मोहाल था क्योंकि पैरों की नसों में ये ट¬ूमर दिन प्रतिदिन बढ़ता जा रहा था। इलाज के लिए वोह कई बड़े डॉक्टरों के पास गया था पर जांच के बाद सभी ने ह ाथ खड़े करते हुए बीएचयू वाराणसी रिफर कर दिया था जहां डॉक्टरों ने उसकी रिपोर्ट देखने के बाद अपने हाथ खड़े करते हुए पैर काटने की बात कही। निराश होकर सत्यम मौर्या के परिजन वापस गांव लौट आये और प्रयागराज के एक मशहूर डॉक्टर यूबी यादव के यहां उसको दिखाने पहुंचे। यहां डॉक्टर ने परिजनों को सलाह दी कि वे दिल्ली के एम्स हॉस्पिटल में ले जाएं जहां इसका सफल ऑपरेशन हो जायेगा। सत्यम की मां सरिता मौर्या ने बताया कि वे अपने बेटे को लेकर एम्स दिल्ली पहुंची और डॉक्टरों ने सभी जांच के बाद अप्रैल 2023 में तारीख ऑपरेशन की बताई तो वे लोग वापस गांव लौट आये। इस दौरान किसी ने डॉक्टर इरफान के बारे में चर्चा किया तो परिजन सीधे सिपाह स्थित उनके हॉस्पिटल पहुंचे जहां डॉक्टर इरफान खान व उनकी टीम ने सारी रिपोर्ट देखने के बाद सत्यम के ऑपरेशन करने की बात कही। परिजनों ने सारी तैयारी करने के बाद ऑपरेशन के लिए राजी हुए और आखिरकार डॉक्टर इरफान खान ने तीन घंटे तक चले इस बड़े ऑपरेशन में एक किलो छह सौ ग्राम बोन ट¬ूमर को टुकड़ो में निकालने में सफलता हासिल की और उसके स्थान पर प्लेट व बाने वैक्स लगाकर पैरों की नसों के बीच सर्जरी किया। डॉ.इरफान के सफल ऑपरेशन के बाद अब सत्यम मौर्या धीरे धीरे चलने लगा है जिससे उसके माता पिता की खुशी का ठिकाना नहीं है। मां सरिता मौर्या का कहना है कि डॉ.इरफान के सफल ऑपरेशन की वजह से ही आज उसके बेटे को एक नया जीवन दान मिला है।
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