दोषसिद्ध आरोपी को परिवीक्षा पर छोड़ा गया | #NayaSaberaNetwork
नया सबेरा नेटवर्क
जौनपुर। मछलीशहर कोतवाली के अंतर्गत जघन्य अपराध में जनपदीय पुलिस की प्रभावी कार्यवाही एवं सम्यक पैरवी से आरोपी को दोषसिद्ध कर परिवीक्षा पर छोड़ा गया। 27.11.1997 को घटित अपराध के सम्बन्ध में वादी मुकदमा प्रताप बहादुर पुत्र रामचन्दर निवासी वटिनहत थाना मछलीशहर की तहरीर पर थाना मछलीशहर में धारा 323,504 के तहत मुकदमा पंजीकृत हुआ था। अभियोग की विवेचना तत्परता से गुणवत्ता कायम रखते हुए पूर्ण की गयी तथा आरोपी के विरूद्ध आरोप पत्र न्यायालय में प्रेषित किया गया। पुलिस अधीक्षक द्वारा न्यायालय में विचाराधीन प्राचीनतम वादों को निस्तारित कराने एवं अभियुक्तों को अधिकाधिक दण्डित कराने के लिए उपर्युक्त अभियोग को जनपदीय पुलिस द्वारा प्रभावी कार्यवाही एवं सम्यक पैरवी के बाबत निर्देशित किया गया। अपर पुलिस अधीक्षक ग्रामीण के नेतृत्व में जनपदीय पुलिस द्वारा सम्यक पैरवी एवं प्रभावी कार्यवाही के परिणामस्वरु प सोमवार को न्यायालय अपर सत्र न्यायाधीश चतुर्थ द्वारा दोषसिद्ध अभियुक्त लक्ष्मीकान्त पुत्र श्यामलाल व श्रीकान्त पुत्र श्यामलाल निवासीगण वटिनहत थाना मछलीशहर को तुरन्त दण्डित न करते हुए छ: माह के परिवीक्षा पर रखा जाता है। इस दौरान वे शान्ति व्यवस्था बनाये रखेंगे, सदाचारपूर्वक रहेंगे और कोई अपराध कारित नहीं करेंगे। अभियुक्तगण उपरोक्त के सम्बन्ध में मुचलका बीस हजार रूपये का व्यक्तिगत बन्धपत्र व उतने ही धनराशि के दो-दो प्रतिभू व बन्ध पत्र जिला प्रोबेशन अधिकारी के समक्ष निर्णय के 15 दिन के अन्दर प्रस्तुत करें। परिवीक्षा के शर्तो के उल्लंघन पर उन्हे मजिस्ट्रेट के समक्ष उपस्थित होकर विधिनुसार दण्डादेश प्राप्त करना होगा। धारा 5 अपराधी परिवीक्षा अधिनियम 1958 के तहत प्रत्येक अभियुक्त द्वारा रूपये एक हजार वादी मुकदमा प्रताप बहादुर तथा रूपए एक हजार चोटिहल रामचन्दर को प्रतिकर के रूप में देय होगा जिसे उपरोक्त उल्लिखित अवधि के अन्दर जिला विधिक सेवा प्राधिकरण में जमा किया जाय जिसका भुगतान प्रताप बहादुर व रामचन्दर के आवेदन पर किया जायेगा। निर्णय के विरूद्ध अपील प्रस्तुत किये जाने की स्थिति में अभियुक्त द्वारा धारा 437 क के तहत छ:माह तक पूर्व निष्पादित जमानत बन्ध पत्र पर रहेंगे।
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