भागवत कथा ही साक्षात नारायण: शंभूनाथ शुक्ला | #NayaSaberaNetwork
नया सबेरा नेटवर्क
श्रीमदभागवत कथा में जुटे श्रद्धालु, लिया प्रसाद
मीरगंज,जौनपुर। श्रीमद्भागवत कथा मनुष्य की सभी इच्छाओं को पूरा करती है। यह कथा सुनना और सुनाना दोनों ही मुक्तिदायिनी है तथा आत्मा को मुक्ति का मार्ग दिखाती है। अपने पितरों की शांति एव पारिवारिक अशांति दूर करने, आर्थिक समृद्धि तथा खुशहाली के लिए इसका आयोजन हर किसी को कराना चाहिए। शिष्य को कभी गुरु की व पुत्र को पिता की और भक्त को भगवान की कभी भी परीक्षा नही लेनी चाहिए। उक्त उदगार बसेरवा में चल रही सात दिवसीय श्रीमद्भागवत कथा ज्ञान यज्ञ सप्ताह के छठवें दिन व्यासपीठ से महाराज शंभूनाथ शुक्ला के मुख से सुनकर श्रद्धालु श्रवण पान कर अमृतमय संगीत की धारा में डुबकी लगा रहे हैं। भागवत कथा वाचक शंभूनाथ शुक्ला महाराज के श्रीमुख से अविरल भक्ति की धारा प्रवाहित हो रही है जिसमे क्षेत्र और दूर दराज से श्रद्धालु जन सम्मिलित होकर अपने जीवन को धन्य धन्य कर रहे हैं। कथा में महाराज ने किस प्रकार भगवान के गुणों से प्रभावित होकर रु क्मिणी ने अपने को समर्पित कर दिया इसे बड़े ही रोचक ढंग से समझाया। कथा में सीता, सावित्री, अनुसूया आदि का उदाहरण देते हुए भारतीय संस्कृति में एक ही पति के वरण करने की परम्परा को समझाया। उन्होंने कहा कि भागवत कथा ही साक्षात नारायण है और जो नारायण है वही साक्षात भागवत है। भागवत कथा भक्ति का मार्ग प्रशस्त करती है। श्रीकृष्ण की बाल लीलाओं का वर्णन कराते हुए कहा कि कन्हैया जैसी लीला मनुष्य क्या कोई अन्य देव भी नहीं कर सकता। लीला और क्रिया में अंतर होता है, भगवान ने लीला की है। जैसे जिसको कर्तव्य का अभिमान तथा सुखी रहने की इच्छा हो तो वह क्रिया कहलाती है। जिसको न तो कर्तव्य का अभिमान है और न ही सुखी रहने की इच्छा हो बल्कि दूसरों को सुखी रखने की इच्छा को लीला कहते हैं। भगवान श्रीकृष्ण ने यही लीला की जिससे सभी गोकुल वासी सुखी थे। उन्होंने कहा कि माखन चोरी का रहस्य मन की चोरी से है। कन्हैया ने अपने भक्तों के मान की चोरी की है। इस प्रकार उन्होंने तमाम बाल लीलाओं का वर्णन करते हुए बैठे श्रोताओं को वात्सल्य प्रेम में सराबोर कर दिया। तत्पश्चात पूतना वध, गोवर्धन लीला, मटकी फोड़ का भी वर्णन किया। इसके पूर्व विशिष्टजनों ने माल्यार्पण कर महाराज का सम्मान करते हुए आशीर्वाद लिया। कार्यक्रम संयोजक महिमाकांत दुबे, उमाकांत दुबे, प्रदीप कुमार दुबे ने आये हुए सभी श्रद्धालुओं की सेवा में लगे रहे। इस मौके पर धनंजय प्रसाद पाठक, प्रभात कुमार मिश्र, सुरेश सिंह(थानाध्यक्ष मीरगंज), राजेश सिंह, प्रमोद सरोज सांसद पुत्र मछलीशहर, शैलेश गिरी, संजय सिंह सहित सैंकड़ों भक्तों ने भागवत कथा का श्रवण करते हुए प्रसाद ग्रहण किया।
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