राष्ट्रीय लोक अदालत में निस्तारित हुए 13654 वाद | #NayaSaberaNetwork
नया सबेरा नेटवर्क
जौनपुर। राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण के निर्देशानुसार जनपद न्यायाधीश अध्यक्ष जिला विधिक सेवा प्राधिकरण एमपी सिंह के मार्गदर्शन एवं निर्देशन में जनपद न्यायालय परिसर में शनिवार को राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया गया। प्रशासनिक न्यायमूर्ति राहुल चतुर्वेदी द्वारा मॉं सरस्वती के चित्र पर माल्यार्पण एवं दीप प्रज्जवलित कर लोक अदालत का उद्घाटन किया गया। इस अवसर पर सत्य प्रकाश, प्रधान न्यायाधीश, परिवार न्यायालय, मनोज कुमार सिंह गौतम, पीठासीन अधिकारी एमएसीटी, अपर जनपद न्यायाधीशगण, बुद्धिराम, अध्यक्ष स्थायी लोक अदालत तथा श्रीमती शिवानी रावत, सचिव पूर्णकालिक, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण तथा अन्य समस्त न्यायिक अधिकारीगण उपस्थित रहे। रमेश दूबे नोडल अधिकारी राष्ट्रीय लोक अदालत एवं शिवानी रावत सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, जनपद न्यायालय के अनुसार आयोजत राष्ट्रीय लोक अदालत में कुल 13654 वादों को निस्तारित किया गया। जिसमें कुल 106132721 रु पये की वसूली धनराशि पर समझौता किया गया। मनोज कुमार सिंह गौतम पीठासीन अधिकारी मोटर दुर्घटना दावा न्यायाधिकरण द्वारा कुल 29 वाद निस्तारित किये गये, जिस पर कुल एक करोड़ 26 लाख 69 हजार छह सौ बानबे रूपये की धनराशि क्षतिपूर्ति निर्धारित की गयी। बैंक रिकवरी से सम्बन्धित 836 प्री-लिटिगेशन वाद निस्तारित किये गये तथा बैंक सम्बन्धित ऋण 5 करोड़ 15 लाख 47 हजार पांच सौ तिहत्तर रूपये वसूल किये गये। परिवारिक न्यायालयो द्वारा 42 मुकदमों को निस्तारित किया गया जिसमें 31 मामलों में सायला को 37 लाख 78 हजार की समझौता राशि प्रदान करायी गयी। न्यायालय विशेष न्यायाधीश ईसीएक्ट द्वारा विद्युत से सम्बन्धित कुल 82 वाद निस्तारित किये गये। सम्बन्धित मजिस्टे्रट न्यायालयों द्वारा 2547 शमनीय फौजदारी वादों को निस्तारित किया गया 138 पराक्राम्य लिखत अधिनियम के 11 मामलें तथा अन्य प्रकार के 15 मामलों का निस्तारण किया गया। सिविल न्यायालय द्वारा कुल 192 मामलों का निस्तारण किया गया जिसमें 3 करोड़ 41 लाख 21 हजार तीन सौ इक्यासी रूपये का उत्तराधिकार प्रमाण पत्र जारी किया गया। प्री-लिटिगेशन स्तर पर राजस्व न्यायालयों द्वारा फौजदारी के 3781 वादों, राजस्व के 803 वाद, अन्य प्रकार के 5235 का एवं नगर पालिका द्वारा जलकर से सम्बन्धित 22 वादों, विद्युत बिल से सम्बन्धित 49 वादों का निस्तारण किया गया। प्री-लिटिगेशन स्तर पर वैवाहिक विवादों के निस्तारण हेतु प्राप्त 10 प्रार्थना पत्रों का सम्बन्धित पीठों द्वारा समाधान कराया गया।
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