शिक्षकों को अपने हितों के लिए एक मंच पर आना होगा: रमेश | #NayaSaberaNetwork
नया सबेरा नेटवर्क
सत्ताधारी उम्मीदवारों का असली चेहरा आने लगा सामने
शिक्षकों के साथ-साथ संगठनों का भी अस्तित्व खतरे में
जौनपुर।विगत दिनों सम्पन्न हुए विधान परिषद् के शिक्षक खंड निर्वाचन क्षेत्रांे से सत्ताधारी पार्टी के समर्थन/टिकट से चुनाव जीते उम्मीदवारों ने अपना असली चेहरा दिखाना शुरु कर दिया है। शिक्षक/कर्मचारी विरोधी सरकार की सरपरस्ती में रहने वाले विजयी उम्मीदवारों को समझने में जो चूक शिक्षक साथियों से हुई है उसका खामियाजा तो भुगतना ही पड़ेगा।उक्त बातें मा .शि. संघ के प्रदेश उपाध्यक्ष रमेश सिंह ने शिक्षकों को चेताया है कि यदिे आने वाले दिनों में एकजुट होकर सरकार और उसके एजेन्टो की शिक्षक/कर्मचारियों विरोधी नीतियों का पुरजोर विरोध नहीं किया गया तो पूरी शिक्षा व्यवस्था ही लिमिटेड कम्पनियों के हाथों गिरवी हो जाएगी। क्या सवित्त, क्या वित्त विहीन सभी ,शिक्षक साथियों का भविष्य अंधकारमय हो जाएगा। चूंकि अब सदन में पहुंचे हुए शिक्षक प्रतिनिधियों से शिक्षक हित में आवाज उठाने की कल्पना ही बेमानी है, इसलिए अब हम शिक्षकों को सड़कों पर उतरने और एकजुट होकर संघर्ष करने की आवश्यकता है। साथ ही संघर्ष का नेतृत्व करने वाले लोगों से भी सचेत रहना होगा कि कहीं आन्दोलन की आड़ में अपना ही उल्लू न सीधा करने लगें। रमेश सिंह ने प्रेस को जारी विज्ञप्ति में सभी शिक्षक संगठनों से आह्वान किया है कि अंधकारमय भविष्य को देखते हुए वे एक मंच पर आने और निर्णायक संघर्ष करने के लिए तत्पर हो वरना वह दिन दूर नहीं जब शिक्षकों के साथ-साथ संगठनों का भी अस्तित्व समाप्त हो जाएगा।
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